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*ब्रेकिंग जशपुर:- लोदाम के बहुचर्चित दहेज मामले में आरोपियों की जमानत याचिका सत्र न्यायालय ने किया ख़ारिज, जयमाला के बाद दहेज की मांग पूरी नहीं होने पर शादी छोड़ दूल्हे के साथ लौट गई थी बारात, न्यायालय ने कहा दहेज की मांग और प्राप्ति समाजिक बुराई है…….*

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जशपुरनगर। लोदाम के बहुचर्चित दहेज मामले में आरोपीगण नितेश गुप्ता और उसके पिता कुलेन्द्र गुप्ता की जमानत याचिका सत्र न्यायाधीश जशपुर श्रीमती अनिता डहरिया ने खारिज कर दिया है। तपकरा निवासी उक्त आरोपियों पर आरोप है कि उनके द्वारा दहेज की मांग की गई और पूरी नहीं होने पर दुल्हन के घर से बिना शादी किये बारात लौटा दी गई।

उक्त सम्बंध में सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार आरोपीगण नितेश गुप्ता और उसके पिता को 1 दिसम्बर को पुलिस ने गिरफ्तार कर न्यायालय में प्रस्तुत किया था। जिस पर दिनांक 3 दिसम्बर को जमानत की सुनवाई होनी थी। किन्तु पीड़िता के अधिवक्ता श्री रामप्रकाश पाण्डेय के द्वारा पीड़िता की ओर से जमानत याचिका पर लिखित आपत्ति प्रस्तुत की गई थी, जिसका जबाब देने एवम तर्क हेतु आज मामला सत्र न्यायाधीश जशपुर के न्यायलय में लंबित था। जिस पर आरोपी गण के अधिवक्ता श्री अजय गुप्ता के द्वारा आरोपीगण पर लगाये गए आरोपो को खारिज करते हुए उन्हें जमानत पर रिहा करने का निवेदन किया, जिस पर पीड़िता स्वयं उपस्थित होकर न्यायालय से आरोपीगण को जमानत न देने का निवेदन की। जिसके बाद अभियोजन की ओर से लोक अभियोजक संजय सोनी तथा आपत्तिकर्ता की ओर से पीड़िता के अधिवक्ता रामप्रकाश पाण्डेय ने जमानत आवेदन का पुरजोर विरोध किया और इस घटना को एक बड़ा समाजिक अपराध भी बताते हुए न्यायालय से आरोपीगण को जमानत नहीं देने का निवेदन किया। जिस पर सत्र न्यायाधीश श्रीमती अनिता डहरिया ने दोनों पक्षों का तर्क सुनने के बाद आरोपीगण की जमानत याचिका यह कहते हुए खारिज कर दिया कि दहेज की मांग और प्राप्ति समाजिक बुराई है ,आरोपीगण के दहेज मांग के कारण प्रार्थिया का विवाह होने से रह गया जिससे उसका भविष्य खराब हुआ है ।न्यायालय ने मामले की संगीनता को देखते हुए आरोपीगण नितेश गुप्ता और उसके पिता कुलेन्द्र गुप्ता की ओर से प्रस्तुत जमानत याचिका को निरस्त कर दिया।

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