जशपुरनगर। :- खबर जशपुर जिले के दुलदुला थाना क्षेत्र के विपतपुर गांव से निकल कर आई है। जहां की एक महिला आवेदक ने जिला पुलिस अधीक्षक को शिकायत करते हुए अपने नाबालिक बच्चे की हत्या का गम्भीर आरोप लगाया है।महिला ने पुलिस अधीक्षक से शिकायत आवेदन की प्रतिलिपि पुलिस महानिर्देशक रायपुर(छ.ग), पुलिस महानिरीक्षक सरगुजा सम्भाग अम्बिकापुर, अध्यक्ष पिछड़ा आयोग रायपुर के अलावा पूर्व मंत्री जनजाति सुरक्षा मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष गणेश राम भगत को भी दिया है।
आपको बता दें कि दुलदुला थाना क्षेत्र के विपतपुर गांव की आवेदिका महिला प्रभावती बाई ने दुलदुला विपतपुर के ईट भट्ठा संचालक राम प्रसाद यादव के अलावा अन्य तीन लोगों पर उसके नाबालिक बच्चे की हत्या जैसे कृत्य का गम्भीर आरोप लगाया है।नाबालिक बच्चे की माँ महिला आवेदिका ने जिला पुलिस अधीक्षक को आवेदन में लिखा है कि दिनांक 27.12.2021 को ईंट भटटा संचालक राम प्रसाद यादव के द्वारा ट्रैक्टर एवं ट्राली में नाबालिक मजदूर दुर्योधन सिंह , सवेन्द्र सिंह , अभिषेक तिर्की , दीपक राम से उक्त ट्रैक्टर में ईंट एवं सीमेन्ट लोड करवाकर उसी ट्रैक्टर में उपरोक्त चारों नाबालिक मजदूरों को बैठाकर वाहन चालाक हेमन्त एक्का के माध्यम से उक्त समाग्री को ग्राम करईगुडा पंचायत किनकेल थाना- केरसई , जिला- सिमडेगा ( झारखण्ड ) पहुचाने के लिए भेजा गया था। उक्त ट्रैक्टर के ड्राईवर के द्वारा ट्रैक्टर ट्रोलि में लोड माल को उक्त स्थान में पहुचाकर रात्रि लगभग 8.00 बजे ट्रैक्टर में उपरोक्त चारों नाबालिक मजदूरो को बैठाकर काफी तेज गति एवं लापरवाही पूर्वक ट्रैक्टर चालन करते हुए ला रहा था।कि ग्राम करईगुड़ा स्कूल के सामने उक्त ट्रैक्टर से दुर्योधन सिंह जो ट्रैक्टर के इंजन में बैठा था। उछल कर ट्रैक्टर के नीचे गिर गया जिस पर ट्रैक्टर चालक हेमन्त एक्का के द्वारा लापरवाही पूर्वक गाड़ी चढा दी गई। जिससे दुर्योधन सिंह के पेट कमर एवं सिर पर गम्भीर चोट आई और वह गम्भीर रूप से घायल हो गया। उक्त घटना होने के बाद ट्रैक्टर के पीछे इट – भटटा का मालिक राम प्रसाद यादव भी आ रहा था। जो घटना होते ही घटना स्थल में पहुचा। उक्त ट्रैक्टर चालाक एवं इट भटटा मालिक राम प्रसाद यादव के द्वारा आहात दुर्योधन सिंह को न तो उपचार हेतु निकट के अस्पताल में ले जाया गया और न ही उक्त घटना की सूचना स्थानीय थाने में दी गई। घटना के पश्चात ईंट भटटा मालिक राम प्रसाद यादव के द्वारा आहत को घटना स्थल पर ही बगैर कोई उपचार के छोड़कर ग्राम विपतपुर में रहने वाले अपने भाई मुन्ना यादव एवं बहन- दमाद सुरेन्द्र यादव को फोन करके घटना स्थल में बुलाया गया। जिन्हें पहुचने में लगभग 2 घंटा का समय लगा। तब तक आहत दुर्योधन सिंह के काफी खुन बह गया था और वह घटना स्थल में ही छटपटाता रहा था। मुन्ना यादव एवं सुरेन्द्र यादव के घटना स्थल में पहुचने के बाद उपरोक्त चारों लोगों ने एक साथ मिलकर एक राय होकर आहत दुर्योधन सिंह को मोटर सायकल में ग्राम विपतपुर इटा- भटटा लेकर आये। उस समय तक आहत दुर्योधन सिंह बेहाश हो चुका था। जिससे उक्त चारो लोग यह दिखाने के लिए की आहत को जो चोटे आई है।वह किसी अज्ञात वाहन से दुर्घटना होने के कारण आई है। ऐसा षडयंत्र कर आहत को चारों लोग मिलकर इट भटटा से लगभग 500 मीटर दूर सड़क के किनारे ले जाकर एक करवट पर लेटाकर छोडकर वापस आ गये। वापस आने के बाद उपरोक्त चारो लोगो के द्वारा घटना के प्रमुख साक्षियों अभिषेक तिर्की , दीपक राम , एवं सवेन्द्र सिंह को घटना की जानकारी किसी को नही देने की धमकी देते हुए यह कहा गया कि अगर वे लोग आहत दुर्योधन सिंह को ट्रैक्टर दुर्घटना से चोट आना बतायेगे तब उन्हें मार कर फेक देगे।ऐसा करकर तीनो साक्षियों को उपरोक्त चारों उनके घर के पास छोडकर चले गये। उक्त घटना के दूसरे दिन सुबह जब मैं अपने बेटे दुर्योधन के रात में घर नही लौटने पर जब उसके साथियों से पुछ ताछ कि तब तीनो लडको के द्वारा उन्हें दी गई धमकी के कारण कुछ नहीं बताया। उसके बाद मैं एवं मेरे पति मोहन सिंह रोजगार गारंटी योजना के तहत जब मिटटी खोदने गये तब वहां पर किसी ने मुझे बताया कि तुम्हरा बेटा सड़क के किनारे मरा पड़ा है। उक्त जानकारी मिलने पर मै और मेरे पति और गांव के अन्य लोग जब जाकर देखे तब सड़क के किनारे मेरा बेटा दुर्योधन सिंह पेट एव छाति के बल मरा पड़ा था। मेरे बेटे का स्वेटर एवं दस्ताना नही था तथा मेरे बेटे के सिर से खून निकला हुआ था तथा पेट , कमर , एव छाति में चोट दिखाई दे रहा था। उस स्थान पर राम प्रसाद यादव भी आ गया था तथा उसी के द्वारा थाने में जाकर सूचना दी गई कि दुर्योधन को कोई अज्ञात वाहन ठोकर मार दिया है , जिससे उसकी मृत्यु हो गई है। उक्त सूचना के बाद थाना दुलदुला के पुलिस वाले आये थे।उनके आने से पहले ही गांव वाले घटना के बारे में पुछ ताछ किये तब गवाह अभिषेक तिर्की , दीपक राम , सवेन्द्र सिंह ने बताया था कि दुर्योधन सिंह कि दुर्घटना ट्रैक्टर से गिरने एवं उसके उपर ट्रैक्टर चढ़ जाने के कारण हुई थी। पुलिस के आने के बाद गांव वाले एवं गवाहों ने पुलिस को उक्त जानकारी दिया था। जिस पर पुलिस वालों उसी स्थल पर राम प्रसाद यादव एव मुन्ना यादव से भी पूछ – ताछ किया था।जिस पर उक्त लोगों ने बताया कि दुर्योधन की मृत्यु उसे यहां सड़क किनारे छोंड ट्रैक्टर दुर्घटना के कारण हुई थी। लेकिन हम लोग डर दिये थे। उसके पश्चात पुलिस वालो के द्वारा मृतक का शव पंचनामा किया गया और उसके शव को पोस्ट माटम हेतु दुलदुला चिकित्सालय भेजा गया था । उक्त घटना की सूचना जब मेरे द्वारा पुलिस थाना दुलदुला में दी गई तब थाना प्रभारी दुलदुला के द्वारा मेरी रिपोर्ट दर्ज नही की गई । थाना प्रभारी के द्वारा मुझे कहा गया कि घ्सटना झारखण्ड में हुई है इसलिए वहां जाकर रिपोर्ट करो और ऐसा करते हुए मुझ लगातार घुमाया जाता रहा है । मैं अन्यत गरीब महिला हॅू और मनरेगा में मजदूरी कर किसी तरह अपने परिवार का पालन पोषण करती हॅू पुलिस के द्वारा मेरे बेटे की ट्रैक्टर दुर्घटना से मृत्यु होने की रिपोर्ट न लिखकर मुझे लगातार प्रताड़ित किया जा रहा है तथा उक्तरोक्त चारों आरोपीगण से मिलकर उनसे पैसा लेकर रिपोर्ट दर्ज करने से इंकार किया जा रहा है जिससे मैं काफी दुखी हूँ ।महिला ने जिला पुलिस अधीक्षक से निवेदन किया है कि उक्त ट्रैक्टर चालक हेमन्त एक्का के विरूद्ध प्रथम सूचना पत्र दर्ज किया जाये तथा मेरे घायल बेटे को इलाज न कराने तथा उसे मरने हेतु जान बुझकर छोड़ देने जिसके कारण मेरे बेटे की मृत्यु हुई तथा उक्त घटना को छिपाकर मेरे बेटे की किसी अज्ञात वाहन से दुर्घटना होने की सूचना देने एवं इस हेतु उसकी हत्या करने के आरोपी राम प्रसाद यादव , हेमन्त एक्का , मुन्ना यादव एवं सुरेन्द्र यादव के विरूद्ध भी मेरे बेटे की हत्या करने का अपराध दर्ज करने एवं उक्त संबंध में आवश्यक कार्यवाही करने की कृपा करें।