Chhattisgarh
*exclusive:- जो भी सुना रोंगटे खड़े हो गए, जशपुर के दिव्यांग केंद्र में एक नहीं 6 बच्चियों के साथ दरिंदो ने की दरिंदगी, मूक बधिर दिव्यांग नाबालिग बच्चों के साथ जो हुआ वह जशपुर के इतिहास में कभी नहीं हुआ, पढ़िये पूरी घटना, भाजपा ने आंदोलन कर आरोपियों को फांसी देने क्यों कर रही मांग, आरपीआई नेता ने क्यों कि सीबीआई जांच की मांग और नेता प्रतिपक्ष ने क्या कहा, पढ़िये पूरी खबर ग्राउंड रिपोर्ट……..*
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3 years agoon
जशपुरनगर। जशपुर के समर्थक दिव्यांग आवासीय प्रशिक्षण केंद्र में यहां पदस्थ दो कर्मचारियों ने जिस तरह दरिंदगी की घटना को अंजाम दिया है उसकी पूरी कहानी रोंगटे खड़ी करने वाली है। इस घटना को लेकर कार्रवाई में जो विलंब हुआ, वह भी किसी बड़ी घटना से कम नहीं।
ग्राउंड जीरो न्यूज़ को मिली जानकारी के मुताबिक घटना दिनांक 22 सितंबर की रात 10 से 11 बजे के बीच नशे में चूर यहां पदस्थ दो कर्मचारी राजेश राम चौहान और नरेंद्र राम पहुंचे। दोनों दरिंदों ने सबसे पहले उस कमरे में जाकर लाइट बंद कर दी जिस कमरे में बड़ी बच्चियां सोने की तैयारी कर रही थी। इन बच्चियों की उम्र 10 से लगभग 14 वर्ष बताई जा रही है। आरोपियों ने जब लाइट बंद किया तभी सारी लड़कियां भयभीत हो गई थी। दोनों आरोपियों ने एक-एक करके उस कमरे से 6 लड़कियों को बाहर निकाला जिसके बाद कमरे में बाहर से ताला लगा दिया गया। इसके बाद इन 6 लड़कियों के साथ जो हुआ उसे लिखना और बताना उचित नहीं होगा। समझने के लिए इतना काफी है एक नाबालिग लड़की को बलात्कार की पीड़ा गंभीर चोटों के साथ सहनी पड़ी, वहीं अन्य 5 के साथ जो हुआ वह भी बलात्कार से कम नहीं था। बच्चों के कपड़े उतरवाने व उन्हें चोट पहुंचाने और अपनी जान बचाने के प्रयास में चोट जैसे कई आपदा को लगभग 1 घंटे तक यहां की बच्चियां सहती रहीं।
यह भी जानकारी सामने आई है कि घटना की जानकारी अधिकारियों को रात 12:00 बजे ही मिल गई और रात 12:00 बजे यहां जिम्मेदार अधिकारी पहुंचे भी, लेकिन 23 तारीख को किसी प्रकार का f.i.r. नहीं किया गया। घटना की वीभत्सता को देखते हुए यह कहा जा सकता है कि दिल्ली के निर्भया कांड से यह घटना कम भी नहीं। इस घटना में मुख्य दो आरोपियों को जेल भेज दिया गया है, लेकिन यह सवाल उठता है कि क्या यह घटना के लिए सिर्फ जेल गए दो आरोपी दोषी हैं या पूरा सिस्टम, जिन्होंने इस संवेदनशील केंद्र के प्रति कभी गंभीरता नहीं दिखाई और केंद्र संचालन के लिए स्वीकृत लाखों रुपए के बंदरबांट में अपनी ड्यूटी बजा दी।
भाजपा ने की डीएमसी के खिलाफ एफआईआर और आरोपियों को फांसी देने की मांग….
जशपुरनगर। दिव्यांग केन्द्र में नि:शक्त बालिकाओं के साथ हुए दुष्कर्म और छेड़छाड़ के मामले में भारतीय जनता पार्टी ने राजीव गांधी शिक्षा मिशन के डीएमसी विनोद पैंकरा के खिलाफ एफआईआर और गिरफ्तारी पर अड़ गई है। पूरे मामले के लिए डीएमसी को जिम्मेदार बताते हुए भाजपा ने दोषियों को फांसी और पीड़ित परिवार को मुआवजा और नौकरी की मांग भी की है। आंदोलन के लिए युवा मोर्चा और महिला मोर्चा के कार्यकर्ता जिला पंचायत जशपुर की अध्यक्ष श्रीमती रायमुनि भगत,महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष ममता कश्यप और भाजयुमो कार्यसमिति के प्रदेश सदस्य नीतिन राय के नेतृत्व में शहर के रणजीता स्टेडियम में एकजुट हुए थे। यहां से रैली की शक्ल में भाजपाई डीएमसी की गिरफ्तारी और दोषियों को फांसी की सजा दिए जाने के समर्थन में नारेबाजी करते हुए सिटी कोतवाली पहुंचे। कोतवाली परिसर के अंदर भी भाजपाईयों ने जमकर नारेबाजी की। कोतवाली में उपस्थित एसडीएम ज्योति बबली कुजूर जशपुर और एसडीओपी आरएस परिहार को ज्ञापन सौंपा। इस दौरान भाजपाईयों ने डीएमसी के खिलाफ कार्रवाई ना होने पर जिले भर में उग्र आंदोलन की चेतावनी भी अधिकारियों को दी है। नितिन राय का आरोप है कि दिव्यांग केन्द्र संचालन की पूरी जिम्मेदारी होने के बावजूद,डीएमसी कभी इस केन्द्र की ओर झांकने नहीं गए। आरोपी केयर टेकर,केन्द्र देखरेख करना छोड़,डीएमसी के घर में ड्यूटी बजाया करता था।यही कारण है कि लगातार शिकायत के बावजूद,केयर टेकर के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई और अपराधियों के हौंसले बढ़ते गए। जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती रायमुनि भगत ने भी पूरे मामले के लिए सीधे तौर पर डीएमसी को जिम्मेदार ठहराते हुए,एफआईआर और गिरफ्तारी की मांग की है। वहीं महिला मोर्चा की जिलाध्यक्ष श्रीमती ममता कश्यप ने पीड़ित बालिकाओं के स्वजनों को 50 लाख का मुआवजा और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की मांग की है। धरना प्रदर्शन और रैली के दौरान कांग्रेस के तीनों विधायक विनय भगत,यूडी मिंज और रामपुकार सिंह भी भाजपाईयों के निशाने पर रहे। विधायकों के खिलाफ नारेबाजी कर रहें भाजपाईयों का आरोप है कि इस शर्मनाक घटना के उजागर होने के बाद,कांग्रेस के विधायक सत्ता का दुरूपयोग कर,राजीव गांधी शिक्षा मिशन के बड़े अधिकारियों को बचाने की कोशिश में लगे हुए हैं। ज्ञापन सौंपने के दौरान नीतिन राय ने आरोप लगाया कि मामले को दबाने के लिए राजीव गांधी शिक्षा मिशन के अधिकारी पीड़ित बालिकाओं सहित दिव्यांग केन्द्र के बच्चों व उनके परिवार पर दबाव बनाने के लिए दिव्यांग केन्द्र बंद करने की धमकी दे रहें हैं। इस दौरान नगर पालिका उपाध्यक्ष राजेश गुप्ता,मंडल अध्यक्ष संतोष सिंह,पार्षद,बीडीसी राजकपूर भगत, फैजान सरवर खान,पूर्व पार्षद संतन राम,दीपक गुप्ता, मुकेश सोनी, टुन्नू सोनी, नमित सिंह, राहुल गुप्ता,दीपक मिश्रा, श्रीमती रजनी प्रधान,श्रीमती शारदा प्रधान, श्रीमती स्मिता जैन,श्रीमती नीतू गुप्ता,श्रीमती पिंकी लकड़ा, अरविंद भगत,मैनेजर राम, सहित भाजयुमो और महिला मोर्चा के पदाधिकारी व कार्यकर्ता शामिल थे।
पूरे मामले पर पर्दा डाल रही है प्रदेश सरकारःकौशिक
नेता प्रतिपक्ष कौशिक ने की मांग, जांच के लिये कमेटी बनें
जशपुर। नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने कहा कि दिव्यांग प्रशिक्षण केन्द्र में जिस तरह की घटना हुई है। यह बेहद ही चिंताजनक और दुखद है। इस मामले पर प्रदेश की सरकार पर्दा डालने का काम कर रही हैं। पूरे मामले सामने आने के बाद भी जांच प्रक्रिया में देरी हुई है। इस पूरे मामले के सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि पूरे प्रदेश में कहीं भी बेटियां सुरक्षित नहीं हैं। जिस तरह से वहां प्रशिक्षण केन्द्र में बेटियों को भयभीत करते रखा जा रहा था। इन सबके बाद भी प्रशासन के तरफ से समय रहते कोई कार्रवाई नहीं की जा रही थी।
उन्होंने कहा कि इस पूरे मामले में स्वतंत्र जांच कमेटी बनाकर उच्च स्तरीय जांच करने की जरूरत है। इसके साथ ही पीड़ित बेटियों की सुरक्षा की पूरी चिंता की जानी चाहिये। नेता प्रतिपक्ष कौशिक ने मांग की है कि इस मामले में जो भी जिम्मेदार है उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिये।
आरपीआई आठवले ने की सीबीआई स्तर के जांच की मांग:-
समर्थ दिव्यांग प्रशिक्षण केंद्र में हुए वीभत्स अनाचार और दरिंदगी के मामले में आरपीआई आठवले के प्रदेश अध्यक्ष व सामाजिक कार्यकर्ता विजय गुप्ता ने भी घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा है कि इस मामले की सीबीआई स्तर पर जांच होनी चाहिए। उन्होंने आशंका व्यक्त की है कि घटना 1 दिन की नहीं है इस घटना के और भी कई पहलू हो सकते हैं इसके लिए उच्च अधिकारियों की जिम्मेदारी भी कितनी सुनिश्चित थी और उन्होंने अपने दायित्वों का निर्वहन किस प्रकार किया यह जांच का विषय है। यदि इस मामले में कड़ी कार्रवाई सम्बन्धितों के विरुद्ध नहीं की जाती है उन्होंने इस मामले को लेकर प्रदेश स्तर पर आंदोलन के साथ ही संभावना व्यक्त की है कि आरोपियों को बक्से जाने पर आगामी दिनों में इसका नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा और ऐसे केंद्रों के संचालन पर भी सवाल खड़े होंगे। विजय गुप्ता ने मांग की है कि सीबीआई स्तर की जांच पर ही सारे तथ्य सामने आएंगे और सभी जिम्मेदार लोगों के विरुद्ध वैधानिक कार्यवाही हो सकेगी। उन्होंने घटना के 24 घंटे के बाद f.i.r. होने पर भी सवाल उठाए हैं। वहीं केंद्र के प्रभाव से जुड़े हर किसी के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज कर कार्यवाही करने की मांग की है।