*18 लाख का घोटाला उजागर होने के बाद भी प्रशासन ने नही की कोई कार्रवाई,अब जनजातिय सुरक्षा मंच के राष्ट्रीय संयोजक गणेश राम भगत ने सम्हाला मोर्चा,क्या टूटेगी जिला प्रशासन की नींद?घोटालेबाजो को मिलेगी सजा……पढिये पूरी खबर*

 

जशपुर,सन्ना (राकेश गुप्ता):- इन दिनों जशपुर जिला पूरी तरह भ्रष्टाचार का गढ़ बनते देखा जा रहा है।जहां जशपुर में आये दिन कोई ना कोई बड़ा घोटाला तो बड़ा भ्रष्टाचार सामने आ रहा है।बीते समय जिले के स्वास्थ्य विभाग में 12 करोड़ के घोटाले का उजागर होने के बाद से जशपुर आये दिन सुर्खियों में रहने लगी है।आपको बता दें कि जशपुर जिले की बगीचा ब्लाक के कामारिमा ग्राम पंचायत में ग्रामीणों ने मनरेगा में लाखों के भ्रष्टाचार होने की बाते कह कर करीब एक साल से लगातार जांच की मांग करते हुए आवाज उठाते देखे जा रहे थे।ग्रामीणों ने यहां तक कि जांच कराने के लिए धरना प्रदर्शन भी किया था। धरना प्रदर्शन के कुछ दिन बाद ही जिला प्रशासन ने के द्वारा कमारिमा ग्राम पंचायत में भ्रष्टाचार की जांच पूर्ण कर लिया और 18 लाख रुपये का घोटाला भी सामने आया। जिसके बाद इस पंचायत के भ्रष्टाचार में संलिप्त SDO, इंजीनियर,सरपंच,सचिव सहित 6 घोटाले बाजों का नाम भी सामने आया और जिला प्रशासन के द्वारा इन छः घोटाले बाजों से 15 दिवस के अंदर 18 लाख के हुए भ्रष्टाचार की नोटिश काट कर जवाब मांगी थी।वहीं नोटिश कटे करीब एक माह बीतने को है परन्तु अब तक इस मामले में इन घोटाले बाजों पर कोई कार्यवाही नही किया गया है।

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वहीं कमारिमा ग्राम पंचायत में हुए भ्रष्टाचार के पर कोई कार्यवाही ना होने पर ग्रामीणों ने पूर्व मंत्री जनजाति सुरक्षा मंच के राष्ट्रीय संयोजक गणेश राम भगत को गांव बुलाया और ग्रामीणों के बुलाने के बाद पूर्व मंत्री भी कमारिमा पंचायत के दातुनपानी गांव पहुंचे और ग्रामीणों से मुलाकात कर सामान्य सभा भी आयोजन किया।जहां ग्रामीणों ने सबके सामने ग्राम पंचायत कमारिमा में मनरेगा के तहत हुए लाखों के भ्रष्टाचार की पोल खोल दी।जिसमें ग्रामीणों ने बताया कि कामारिमा पंचायत में कागजों में दस-दस लाख रुपये के तीन तालाब खोद दी गयी है लेकिन जमीन पर तालाब दिखता ही नही है और पूरी शासकीय राशि का बंदरबांट भी कर लिया गया है।कई कुंआ का निर्माण भी इसी तरह किया गया है जो जमीन पर है ही नही और लाखों लाखों रुपये फर्जी बिल लगा कर और फर्जी हाजरी भर कर राशि का बंदरबांट कर लिया गया है।वहीं सबसे खास बात यह है कि यहां जनपद के आलाधिकारियों से मिलीभगत करके मनरेगा में नाबालिक बच्चों के नाम फर्जी हाजरी भर कर राशि को फर्जी रूप से आहरित भी कर लिया गया है।पूर्व मंत्री ने सभा को सम्बोधित करते हुए कहा कि जशपुर जिले में आये दिन करोड़ों रुपये की घोटाला और भ्रष्टाचार सामने आ रही है परंतु सरकार के द्वारा किसी पर कोई कार्यवाही नही की जाती है।वहीं कमारिमा में संलिप्त भ्रष्टाचारियों पर तत्काल कार्यवाही हो अन्यथा जनजाति सुरक्षा मंच चुप बैठने वाला नही है।सभा को बगीचा के पूर्व जनपद उपाध्यक्ष राजकुमार गुप्ता,जनजाति सुरक्षा मंच के जिला उपाध्यक्ष चन्द्रदेव ग्वाला,नरेश यादव,रामजतन यादव ने भी सम्बोधित किया।

*इस मामले में जब हमने जिला पंचायत सीईओ के.एस.मण्डावी से फोन पर चर्चा किया तो उन्होंने बताया कि नोटिस कटने के बाद संलिप्तों के द्वारा हमारे समक्ष जवाब पेश किया गया है,मामले में एफआईआर होगी या वसूली की प्रक्रिया होगी यह परीक्षण के बाद ही कुछ कहा जायेगा,अभी फिलहाल मनरेगा के कर्मचारियों की हड़ताल चल रही है।*

बहरहाल कमारिमा ग्राम पंचायत में 18 लाख रुपये का भ्रष्टाचार प्रमाणित होने के बावजूद अब तक इन भ्रष्टाचारियों पर कार्यवाही नही होना ही सरकार के कार्यप्रणाली को स्पष्ट दर्शाता हुआ दिखता है।इसी तरह पूर्व में भी जिला की स्वास्थ्य विभाग में 12 करोड़ रुपये से ज्यादा की घोटाले का उजागर हुआ था जिस मामले में भी सामान्य कार्यवाही करके प्रशासन भ्रष्टाचारियों को ढील दे दीया था।बार बार इस तरह का भ्रष्टाचार जिले से सामने निकल कर आ रही है परंतु जांच और कार्यवाही के नाम पर मामले को दबा दिया जाता है जिससे ग्रामीणों के द्वारा भी आलाधिकारीयों पर गम्भीर आरोप लगाते हुए संदेह के घेरे में लिया जाता है।बहरहाल अब देखना यह दिलचस्प होगा कि आम जनता पर तो कार्यवाही बहुत तेज गति से हो जाती है पर अब इन भ्रष्टाचारियों पर आखिर कब तक कार्यवाही हो पाती है।

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