Jashpur
*सोगडा आश्रम में चरण पादुका एवं शिवलिंग स्थापना का मनाया गया वार्षिक उत्सव, दो दिवसीय चिकित्सा शिविर का भी हुआ आयोजन………….*
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2 years agoon
जशपुरनगर। ब्रह्मनिष्ठालय , सोगडा आश्रम जशपुर में विगत 26 व 27 अक्टूबर को अघोरेश्वर महाविभूति स्थल स्थल पर चरणपादुका एवं शिवलिंग स्थापना का 26 वॉ वार्षिकोत्सव सोल्लास सम्पन्न हुआ । इस शुभ अवसर पर ट्रस्ट द्वारा जनकल्याणार्थ दो दिवसीय निःशुल्क चिकित्सा शिविर का भी आयोजन किया गया । कार्यक्रम का प्रारम्भ 26 अक्टूबर को प्रातः 8:30 बजे अघोरेश्वर महाविभूति स्थल पर चरणपादुका एवं शिवलिंग पर ट्रस्ट के अध्यक्ष परमपूज्य गुरुपद संभव रामजी द्वारा पूजन आरती के पश्चात 24 घंटे का अष्ठयाम संकीर्तन के साथ प्रारम्भ हुआ । स्वयं पूज्यपाद द्वारा महामंत्र अघोरान्ना परो मंत्रः नास्ति तत्वम् गुरोः परम का कीर्तन करते हुये महाविभूति स्थल की परिक्रमा करते हुये प्रारम्भ किया गया । इसके उपरान्त श्रद्धालु भक्तों द्वारा संकीर्तन प्ररम्भ किया गया । 24 घंटे संकीर्तन हेतु अलग – अलग टोलियाँ बनायी गयी थी जो दो – दो घंटे के उपरान्त बदल दी जाती थी । इसी प्रकार से संकीर्तन प्रातः 9:00 बजे से प्रारम्भ होकर अगले दिन 9:00 बजे समपन्न हुआ । संकीर्तन कार्यक्रम प्रारम्भ होने के पश्चात प्रातः 10:00 बजे से दो दिवसीय निःशुल्क चिकित्सा शिविर प्रारम्भ हुआ । शिविर का शुभारम्भ पूज्यपाद गुरुपद बाबाजी द्वारा अघोरेश्वर महाप्रभु के तैल चित्र पर पूजन आरती के पश्चात नारियल बलि कर किया गया । दो दीवसीय चिकित्सा शिविर में कुल 1420 मरीजों का परीक्षण कर उन्हें ट्रस्ट द्वारा निःशुल्क दवाइयाँ प्रदान की गयी । चिकित्सकों में प्रयागराज , वाराणसी , राँची , अम्बिकापुर , सासाराम , कोलकाता आदि स्थानों से आये हुये सुप्रसिद्ध चिकित्सक उपलब्ध थे । चिकित्सकों में दन्त रोग , शिशु रोग , जनरल फिजिशियन , सर्जन , स्त्री रोग आदि के विशेषज्ञों के अलावा होमियोपैथी एवं ऑस्टियोपैथी के विशेषज्ञ भी उपस्थित थे । वाराणसी से नाडी विशेषज्ञ वैद्य वैकुण्ठ नाथ पाण्डेय जी को भी विशेषतौर पर आमंत्रित किया गया था । शिविर में मरीजों के रक्त परीक्षण , शुगर , यूरिक एसिड आदि जॉच करने की सुविधा भी निःशुल्क उपलब्ध थी । शिविर में आस – पास के ग्रामों से बडी संख्या में ग्रामीण बन्धुओं ने चिकित्सा सुविधा एवं दवाइयाँ प्राप्त की । 27 अक्टूबर को प्रातः 9 बजे पूज्यपाद बाबा जी द्वारा अघोरेश्वर महाविभूति स्थल पर पूजन आरती के साथ अष्टयाम संकीर्तन का समापन किया गया । इसके उपरान्त श्री उदय नारायण पाण्डेय , रॉची द्वारा सफलयोनि सद्ग्रंथ का पाठ किया गया । तत्पश्चात् लघु गोष्ठी प्रारम्भ हुई । सर्वप्रथम रॉची शाखा के राज सहाय , बाबागुरु नाथ शाहदेव , बालदेव उराँव , सौरभ राज , शिवशंकर षारंगी द्वारा गुरु स्तुति के रूप में गुरुपादुका पंचकम का सस्वर पाठ किया गया । तत्पश्चात वक्ताओं द्वारा अपने अपने विचार व्यक्त किये गये । वक्ताओं में डॉ ० आर ० के ० सिंह वरिष्ठ सर्जन अंबिकापुर , श्री तेजबल सिंह जिला आपूर्ति अधिकारी , उधम सिंह नगर एवं सदस्य सचिव राज्य खाद्य आयोग देहरादून उतराखण्ड , श्री राकेश दीक्षित प्रबंधक डी ० एल ० एस ० डिग्री कालेज बिलासपुर तथा श्री बीरेन्द्र चौवे सेवानिवृत सहायक बंदोबस्त पदाधिकारी राजस्व विभाग झारखण्ड सरकार ने अपने विचार व्यक्त किये । इसके पश्चात पूज्य बाबा जी द्वारा संक्षिप्त आशीर्वचन में कहा कि गुरु के विचारों , वाणियों का आदर्श का अनुसरण करना ही गुरु के प्रति श्रद्धा है । गुरु हाड मांस के शरीर नहीं होते हैं बल्कि अपने प्राण अपनी ही आत्मा होते हैं । मंत्र की व्यापकता एवं मंत्र की शक्ति के बारे में विस्तार से बताते हुये उन्होंने कहा कि नियमित गुरु मंत्र के जाप का अपने आचरण पर विचारो पर सोच पर व्यापक प्रभाव पड़ता है और अच्छे विचार का आगमन होने से अच्छे आदर्शों का अनुशरण करने से यह मंत्र जो कि अत्यंत व्यापक होता है आप पर गहरा प्रभाव डालता है और आपको शक्तिशाली बनाता है तथा आपको एक उच्चतर स्थिति में ले जाता है । इसीलीये ऐसे आयोजन किये जाते हैं कि आप इन बातों को हमेशा याद रखें । विस्मृत न करें । अंत में पूज्यपाद बाबा जी स्वात्मा राम आत्मा राम का सामूहिक पाठ कराया गया । इसके उपरान्त गम्हरिया आश्रम के श्री समीर सहाय जी द्वारा धन्यवाद ज्ञापन के पश्चात कर्नल आर ० सी ० एन ० शाहदेव जी द्वारा कार्यक्रम के समापन की घोषणा की गयी । गोष्ठी के सफल संचालन रॉची के वरिष्ठ पत्रकार श्री नवीन श्रीवास्तव जी द्वारा किया गया । गोष्ठी के उपरान्त ग्राम सोगडा एवं ग्राम नालापारा के ग्रामीण बंधुओं द्वारा मनोहारी लोकनृत्य प्रस्तुत किया गया । 4:00 बजे से संकलित वस्त्रों का वितरण प्रारम्भ किया गया एवं रात्रि में आरती पश्चात बिहार एवं झारखण्ड से आये हुये कलाकारों द्वारा सुमधुर भजन का कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया।